सेवा व सम्मान को सैल्यूट
देहरादून। इस संसार को हमारी सेवा व सहायता की भूख नहीं है। पर यदि हम सेवा भाव से संसार मे किसी असहाय की सहायता करते है भूखे को भोजन देते हैं। तो उसका मन हर्षित होता है। उस को हर्षित देख भगवान प्रसन होंते है। भगवान की प्रसन्नता से हमारा मन हर्षित होता है।
इसी भाव को लेकर सामाजिक संस्था हर्षिल फ़ाउंडेशन की स्थापना 10 वर्ष पूर्व श्रीमती रमा गोयल ने की थी जिसके संरक्षक उत्तराखंड विधि आयोग के अध्यक्ष जस्टिस राजेश टंडन है। कोरोना संकट को लेकर सेवा भाव की भावना से ओतप्रोत श्रीमती रमा गोयल पहले दिन से ही अपने सहयोगियों के साथ ज़रूरतमंदों की ज़रूरत पूरी करने के लिए जुटी हुई है। जो पुलिस प्रशासन के माध्यम से भोजन की व्यवस्था मास्क वितरण बच्चों के लिए दूध की व्यवस्था में जुटी है।
यह सेवा कर रही है। सेवा करने के लिए प्रेरित कर रही है। सेवा करने वालो को सम्मानित कर रही है जिनकी सेवा से प्रभावित होकर एक दर्जन से अधिक संस्थाएं उनको सम्मानित कर चुकी है। मैं सेवा व सेवा का सम्मान करने वालों को सैल्यूट करता हूँ