सहारनपुर। सरकारी पाठ्य पुस्तकों में गुर्जर प्रतिहार वंश एवं गुर्जर सम्राट मिहिर भोज से गुर्जर शब्द हटाये जाने के विरोध में आज गुर्जर समाज के लोगों ने जिला मुख्यालय पर प्रदर्शन किया और केन्द्रीय शिक्षा मंत्री डॉ.रमेश पोखरियाल निशंक को प्रेषित ज्ञापन में कहा कि यदि 15 सितम्बर तक निर्णय न लिया गया, तो इस मामले को लेकर आंदोलन किया जायेगा।
आज अखिल भारतीय गुर्जर महासभा गुर्जर आर्मी से जुड़े समाज के लोग जिला मुख्यालय पहुंचे और पाठ्य पुस्तकों में से गुर्जर महापुरूषों के नाम से गुर्जर हटाये जाने पर रोष व्यक्त किया। उन्होंने केनद्रीय शिक्षा मंत्री को भेजे ज्ञापन में कहा कि महापुरूषों के नाम से गुर्जर हटाये जाने पर समाज में रोष है। यदि शीघ्र ही इस मामले में सरकार की ओर से कोई कार्रवाई न की गयी, तो गुर्जर समाज आंदोलन को विवश होगा। इस दौरान महासभा के जिलाध्यक्ष ओमी पंवार, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष राजपाल सिंह ने कहा कि गुर्जर प्रतिहार वंश के सम्राट ने कई सौ सालो तक देश पर अच्छा शासन किया और अपने शासनकाल में बाहरी आक्रमणकारियों को भारत की सीमा में घुसने नहीं दिया। हजारों मंदिरों का निर्माण कराया।
जिसके फलस्वरूप आज भी भारत में प्राचीन संस्कृति सभ्यता जीवित है। इतिहास को कुछ पुस्तकों में लिखा गया है कि गुर्जर प्रतिहार वंश के राजाओं व महाराजाओं ने अपने शासनकाल में सजग प्रहरी के रूप में अपने दायित्वों का निर्वहन किया और भारत देश को सुरक्षित रखा। उन्होंने कहा कि सरकारी पाठ्य पुस्तकों से गुर्जर प्रतिहार वंश व गुर्जर सम्राट मिहिर भोज में से कुछ गुर्जर शब्द हटा दिया गया है, जिस कारण समाज के लोगों में रोष है। इस तरीके से इतिहास से छेड़छाड़ बर्दाश्त नही की जायेगी और 15 सितम्बर तक सरकार द्वारा इस संबंध में कोई ठोस फैसला नही किया गया, तो जनान्दोलन शुरू किया जायेगा। इस दौरान अंकुर, चै.विक्रम सिंह, सुशील, बिजनेस, विपिन, सौरभ बजरंगी, गौरव गुर्जर, यशदेव, कर्म चैहान, तोरन चैधरी, योगेश रावत, प्रवेश कुमार, नवाब गुर्जर, राजपाल सिंह आदि मौजूद रहे।